केंद्र सरकार की जल जीवन योजना में राज्य सरकार का रोड़ा – राजेश श्यामकर

उन्होंने कहा प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ गरीब परिवारों को नहीं मिल रहा है

दैनिक बालोद न्यूज/प्रेम प्रकाश साहू/राजनांदगांव।केंद्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना नल जल योजना और प्रधानमंत्री आवास योजना पर राज्य सरकार की रोड़ा के चलते छत्तीसगढ़ वासियों को लाभ नहीं मिल रहा है जिला पंचायत क्षेत्र क्रमांक 8 के जिला पंचायत सदस्य राजेश श्यामकर ने कहा कि केंद्र सरकार की दो महत्वपूर्ण योजना नल जल योजना और प्रधानमंत्री आवास योजना पर राज्य सरकार की कमजोर नीति के चलते छत्तीसगढ़ वासियों को लाभ नहीं मिल रहा है जल जीवन मिशन के तहत छत्तीसगढ़ को लगभग 1,908.96 करोड़ मिले हैं। जल जीवन मिशन का लक्ष्य 2024 तक सभी ग्रामीण घरों में नल के पानी के कनेक्शन उपलब्ध कराना है। 2021-22 के केंद्रीय बजट में इस महत्वाकांक्षी योजना के लिए 50,000 करोड़ रुपये निर्धारित किए गए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने लाल किला से अपने स्वतंत्रता दिवस के भाषण में पीएम जल जीवन मिशन शुरू करने की घोषणा की थी। इस हर घर नल का जल योजना के तहत, केंद्र सरकार का लक्ष्य सभी घरों में पाइप जलापूर्ति सुनिश्चित करना है। लेकिन छत्तीसगढ़ में शहरी क्षेत्रों के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों में भी लोगों को पेयजल की समस्या से जूझना पड़ रहा है खासकर ग्रामीण अंचलों में पानी की समस्या को लेकर काफी बुरा हाल हैं गांवो में सभी घरों तक पानी पहुंचाने की राज्य सरकार की नल जल योजना भी पूरी तरह से फेल साबित हो रही है करोड़ों रुपए की लागत से शुरू की गई यह नल जल योजना राज्य सरकार की लापरवाही से पूरी तरह से बंद पड़ी है और लोगों को बूंद बूंद पानी के लिए जूझना पड़ रहा है छत्तीसगढ़ सरकार ग्राम पंचायत में नल जल योजना की शुरुआत की थी लेकिन केंद्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना नल जल योजना छत्तीसगढ़ में राज्य सरकार की कमियों के कारण लोगों को इनका लाभ नहीं मिल रहा है जबकि केंद्र सरकार का उद्देश्य है कि 2024 तक सभी को नल जल योजना के माध्यम से पर्याप्त पानी मिल सके लेकिन यह योजना थी छत्तीसगढ़ सरकार की कमियों के कारण दम तोड़ती नजर आ रही है।

श्री श्यामकर ने आगे कहा कि

केंद्र सरकार की दूसरी महत्वपूर्ण योजना जिसमें छत्तीसगढ़ में केंद्र सरकार ने वर्ष 2021-22 के लिए राज्य को आवंटित 7 लाख से ज्यादा मकान बनाने का लक्ष्य वापस ले लिया है मूलभूत सुविधाओं में रोटी, कपड़ा और मकान सबसे पहले आता है।
छत्तीसगढ़ में क्यों नहीं बन पाए पीएम आवास योजना के लाखों मकान? मूलभूत सुविधाओं में रोटी, कपड़ा और मकान सबसे पहले आता है. आजादी के 75 साल बाद भी आज देश में एक बड़ी आबादी झुग्गी झोपड़ी में रहने को मजबूर है. इसको लेकर केंद्र सरकार ने 2022 तक देशभर में जरूरतमंद को पक्का मकान का लक्ष्य रखा है. लेकिन छत्तीसगढ़ लक्ष्य के करीब पहुंचते नहीं दिख रहा है. राज्य में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 7 लाख 81 हजार मकान नहीं बन पाएंगे. राज्य सरकार ने रुचि नहीं दिखाई. नए मकानों के पंजीयन से लेकर हितग्राहियों को नए मकान आवंटन और पहले आवंटित मकानों के निर्माण को लेकर राज्य सरकार संतोषजनक नतीजे देने में असफल रही है कांग्रेस सरकार के निकम्मेपन के कारण गरीबों के घर नहीं बन पाएंगे. सीएम भूपेश बघेल राज्य के गरीबों की उम्मीदों की हत्या कर रहे हैं। प्रदेश सरकार की लापरवाही के कारण पीएम आवास के 2021-22 में आवंटित 7 लाख 81 हजार से ज्यादा घर अब नहीं बन पाएंगे. हर समय केंद्र सरकार पर दोषारोपण करने वाले भूपेश बघेल सरकार पीएम आवास के मकानों के निर्माण में फिसड्डी है, न नये रजिस्ट्रेशन किये न ही घरों की मंजूरी दी. यही कारण है कि केंद्र सरकार 2021-22 के लिए आवंटित लक्ष्य को वापिस ले रही है। छत्तीसगढ़ के लोगों के लिए विकास पुरुष पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह के द्वारा पिछले 15 सालों में लगातार विकास कार्य किए गए लेकिन जब से छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के भूपेश बघेल सरकार आई है तब से विकास कार्य पूरी तरह ठप पड़े हैं छत्तीसगढ़ की जनता अब समझ चुकी है कि भारतीय जनता पार्टी के साथ ही विकास संभव है।

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