फांसी लगाने वाले युवक की पीठ पर बेल्ट के निशान देखकर बिफरे हैं ग्रामीण, अब तक शव लेने से कर रहे इंकार, पुलिस को गांव के बाहर ही रोके, धनगांव में देर रात तक तनाव की स्थिति
बालोद। डौंडीलोहारा में महाकाली मंदिर में चोरी के बाद वहां के कर्मचारी द्वारा मंदिर के भीतर ही फांसी लगा देने की घटना का मामला तूल पकड़ने लगा है। जब सुबह पुलिस की निगरानी में फंदे से शव को उतारा गया और लाश की बारीकी से जांच की गई तो पीठ पर बेल्ट के निशान देखकर ग्रामीण बिफर गए हैं।
तो वही सुबह से ही अब तक ग्रामीणों ने पुलिस के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। जिसने भी मृतक उचित राम मानकर की पिटाई की है, उन्हें सामने लाने व गिरफ्तारी की मांग पर ग्रामीण अड़े हुए हैं।
पुलिस ने शव का पीएम तो करवा दिया है लेकिन ग्रामीण लेने को तैयार नहीं है। यहां तक कि पुलिस को गांव से बाहर ही रोक दिया गया है। गांव में दोपहर से अब तक तनाव की स्थिति बनी हुई है। पुलिस कुछ कर नहीं पा रही है तो उनके सामने जवाब देने की स्थिति भी नहीं है। तो वही मंदिर में रहने वाले दूसरे व्यक्ति मिश्री लाल कोसमा ,जिसे मंदिर पुजारी ने चोरी का संदेही बताया है, उन्होंने भी अब आरोप लगा दिया है कि पुलिस ने उन दोनों के साथ बहुत बुरा सलूक किया है।
मुझसे ज्यादा तो उचित की बेल्ट से पिटाई की है। इन सब बातों के सामने आने के बाद परिजन व ग्रामीण अब यही मानकर चल रहे हैं कि पुलिस की प्रताड़ना से क्षुब्ध होकर और बेगुनाह होने के बाद भी उचित ने ख़ुद को मौत के हवाले कर दिया।