ये कैसी व्यवस्था ?खाना मिल रहा है वह भी घटिया, मितानिन प्रशिक्षण में 40 किलोमीटर दूर से आते है,खाना ठीक से नसीब भी नहीं हो पा रहा है

बालोद/देवरीबंगला। विकासखंड डौंडीलोहारा की शेष मितानिनों का 24 वा चरण का प्रशिक्षण नर्मदाधाम सुरसुली में चल रहा है। जहां पर विकासखंड के विभिन्न ग्रामों की 51 मितानिने प्रशिक्षण ले रही है। कोरोना संक्रमण को देखते हुए प्रशिक्षण में आवश्यक सोशल डिस्टेंसिंग तथा मासक का उपयोग किया जा रहा है प्रशिक्षण सात दिवसीय आवासीय था। लेकिन कोरोना को देखते हुए गैर आवासीय प्रशिक्षण दिया जा रहा है। प्रशिक्षण स्थल पर मितानिन को दो वक्त चाय, बिस्किट तथा दोपहर का खाना दिया जाता है। जिसका टेंडर बालोद के केटर्स को दिया गया है। केटर्स द्वारा बना बनाया पक्का हुआ। खाना बालोंद से भेजा जाता है। बुधवार को भी केटर्स द्वारा खाना भेजा गया था। जिसको देखकर मितानिनो ने खाना खाने से इंकार कर दिया। सब्जी रोटी एवं दाल स्तरहीन थी।

प्रशिक्षक संघ के अध्यक्ष संतोष निर्मलकर मितानिन उषा ठाकुर सुमन सोनभद्र तथा संतोषी देवांगन ने बताया कि

खाने की क्वालिटी ठीक नहीं है तथा सुबह का पका हुआ दोपहर को दिया जाता है। इससे कई मितानिन की तबीयत खराब हो गई है। खाने की क्वालिटी में सुधार होना चाहिए। खाने की जांच करने दल पहुचा :- घटिया खाने की शिकायत सीएमओ तथा ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर को की गई तब जिले से खाने की जांच करने गुरुवार को दल पहुंचाथथा। दल मैं डॉक्टर राहुल गोविंदानी, बीईओ जसराज शर्मा, सुपरवाइजर पी चंद्राकर खाने की जांच करने नर्मदाधाम प्रशिक्षण स्थल पर पहुंचे। उन्होंने मितानिनों से बात की। तथा खाने को चख कर देखा। जांच दल ने भी खाने की क्वालिटी सही नहीं पाया। इसकी रिपोर्ट सीएमएचओ कार्यालय को देने की बात कही। मितानिन कार्यक्रम के ब्लॉक समन्वयक ने बताया कि बुधवार को मितानिनो ने स्तरहीन खाना खाने से इंकार कर दिया। इसकी जानकारी सीएमएचओ तथा ब्लॉक के बीएमओ को दी गई है। खाने की जवाबदारी समूह को दे:- मितानिन संघ जिला बालोद की अध्यक्ष बुधियारिंन कुमेटी ने बताया कि मितानिन प्रशिक्षण के दौरान दिए जाने वाला खाना का टेंडर स्व सहायता समूह की स्थानीय महिलाओं को दिया जाना चाहिए।